आईपीसी धारा 432 लोक जल निकास बाधा करने द्वारा रिष्टि | IPC Section 432 In Hindi
पथ प्रदर्शन: भारतीय दंड संहिता > अध्याय 17: सम्पत्ति के विरुद्ध अपराधों के विषय में > रिष्टि के विषय में > आईपीसी धारा 432
आईपीसी धारा 432: लोक जल निकास में नुकसानप्रद जलप्लावन या बाधा कारित करने द्वारा रिष्टि
जो कोई किसी ऐसे कार्य के करने द्वारा रिष्टि करेगा, जिससे किसी लोक जलनिकास में क्षतिप्रद या नुकसानप्रद जलप्लावन या बाधा कारित हो जाए, या होना वह सम्भाव्य जानता हो, वह दोनों में से किसी भांति के कारावास से, जिसकी अवधि पांच वर्ष तक की हो सकेगी, या जुर्माने से, या दोनों से, दंडित किया जाएगा ।
-भारतीय दंड संहिता के शब्द
अपराध | जलभराव या सार्वजनिक जल निकासी में बाधा के कारण शरारत नुकसान के साथ भाग लिया |
सजा | 5 साल या जुर्माना या दोनों |
संज्ञेय | संज्ञेय (गिरफ्तारी के लिए वॉरेंट आवश्यक नही) |
जमानत | जमानतीय |
विचारणीय | प्रथम श्रेणी का मजिस्ट्रेट |
समझौता | नही किया जा सकता |